मरीजो का खून चूस रहे है जिला अस्पताल के डॉक्टर , स्टाफ !
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अपने पति का बाहर से अल्ट्रा साउंड और एक्सरे कराने के अस्पताल में वापस लौटती महिला |
जौनपुर का जिला अस्पताल पूरी तरह से भ्रष्टाचार की भेट चढ़ चुका है | अस्पताल में सारी सुविधा होने के बाद ही यहा के डाक्टर मरीजो को जाँच कराने के लिए अस्पताल के बाहर स्थित डायग्नोस्टिक सेंटरों पर भेजते है नतीजा ये होता है प्राइवेट डायग्नोस्टिक वाले मरीजो से मनमाना रकम वसूलते है जिससे गरीब मरीजो को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है |
जिला अस्पताल के बाहर इस ठण्ड में स्ट्रेचर पर अपने बीमार पति को लेकर जा रही इस महिला को देखिये , ये महिला कमला देवी केराकत के रहने वाली है इसके पति के लीवर में प्राब्लम होने पर इसने अपने पति को जिला अस्पताल में भर्ती कराया और डाक्टर ए के शर्मा से इलाज शुरू कराया आज डाक्टर के कहने पर अपने पति का अल्ट्रा साउंड और एक्स रे कराने के लिए अस्पताल के बाहर प्राईवेट अल्ट्रा साउंड केंद्र पर गई थी | मरीज की पत्नी कमला देवी का कहना है की प्राईवेट में अल्ट्रासाउंड कराने पर उससे 730 रूपये लिए गये और अल्ट्रा खुद कराने के लिए अस्पताल के कर्मचारी साथ में गये थे | ऐसा नही है की इस अस्पताल में अल्ट्रासाउंड या एक्स रे की सुविधा नही है यहा सारी सुविधाए मौजूद है बावजूद उसके मरीज को अस्पताल के बाहर प्राईवेट जाँच केंद्र पर भेजने के मामले पर जब सीएमएस डॉ एस के पाण्डेय से पूछा गया तो उन्होंने कहा कि यहा सभी सुविधा है उसके बाद भी अगर किसी मरीज को किसी डाक्टर ने बाहर जाँच के लिए भेजा है तो उसकी जाँच की जाएगी और सम्बंधित डाक्टर के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
फिलहाल सीएमएस साहब जाँच के बाद कार्रवाई की बात कर रहे है लेकिन सवाल ये उठता है की अगर इस गरीब महिला के पास पैसे ना होते तो फिर ये अपने पति का अल्ट्रा साउंड या एक्स रे कैसे करा पाती ? जब प्रदेश सरकार ने जिला अस्पताल में सारी सुविधा दे रखी है तो फिर जाँच के लिए मरीज को बाहर क्यों भेजा जाता है ?