जौनपुर। वित्त विधेयक 2025 के जरिए पेंशन नियमों में बदलाव और प्राथमिक विद्यालयों के जबरन मर्जर के खिलाफ मंगलवार को जनपद में सेवानिवृत्त कर्मचारी, पेंशनर्स और शिक्षकों का जबरदस्त विरोध प्रदर्शन हुआ। कलेक्ट्रेट परिसर में भारी संख्या में जुटे प्रदर्शनकारियों ने सात सूत्रीय मांगों को लेकर सरकार के खिलाफ आक्रोश जताया और धरना देकर ज्ञापन सौंपा।
धरने की अगुवाई करते हुए पेंशनर्स एसोसिएशन के जिलाध्यक्ष सी. बी. सिंह ने कहा कि सरकार पेंशनर्स की जायज़ मांगों की लगातार अनदेखी कर रही है। आठवें वेतन आयोग का गठन, कोविडकाल की रोकी गई महंगाई राहत की बहाली, पुरानी पेंशन की बहाली और पेंशन राशि की कटौती अवधि घटाकर 10 साल किए जाने जैसी मांगों को लेकर यह आंदोलन किया जा रहा है।
उन्होंने यह भी कहा कि कम छात्र संख्या के नाम पर विद्यालयों का मर्जर बंद किया जाए, क्योंकि यह ग्रामीण शिक्षा व्यवस्था पर सीधा हमला है।
वहीं प्राथमिक शिक्षक संघ के जिलाध्यक्ष अरविंद कुमार शुक्ला ने वित्त विधेयक 2025 की कटु आलोचना करते हुए कहा कि सरकार पेंशनर्स को महंगाई राहत और वेतन पुनरीक्षण से वंचित करने की साजिश रच रही है, जिसका शिक्षक समाज पूरे दम से विरोध करेगा।
धरना स्थल पर पहुंचे नगर मजिस्ट्रेट इंद्रनंदन सिंह ने पेंशनर्स का ज्ञापन जिलाधिकारी की ओर से प्राप्त किया, जिसे प्रधानमंत्री व मुख्यमंत्री को भेजे जाने की मांग की गई।
धरने को कई प्रमुख वक्ताओं जैसे इं. प्रमोद कुमार सिंह, राम आसरे रजक, नरेन्द्र त्रिपाठी, बी.डी. सिंह, डॉ. आशाराम, सुबेदार यादव, नन्दलाल सरोज, कंचन सिंह, कृष्ण कुमार त्रिपाठी, सुक्खू राम, हीरालाल पांडेय, शिवेंद्र सिंह, पंकज कुमार सिंह आदि ने संबोधित किया और मांगों को तुरंत पूरा करने की पुरजोर मांग की।
सभा का संचालन जिला मंत्री कृपाशंकर उपाध्याय ने किया। सभा के अंत में सर्वसम्मति से पास प्रस्ताव के माध्यम से प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजने का निर्णय लिया गया।
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