अपहरणकर्ताओं के चंगुल से मुक्त हुआ बालक आरोपियों कहा मै निर्दोष हू
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रिपोर्टर :- पितेश्वर कुमार
आजमगढ़ के कंधरापुर थाना क्षेत्र में अपने ननिहाल आये 5 वर्ष के मासूम बच्चे का अपहरण कर लिया गया और अपहरणकर्ताओं द्वारा परिजनों से 60 हजार रूपया फिरौती की मांग की गयी। जिसकी सूचना मिलते ही पुलिस ने तत्परता दिखाते हुए बालक को सकुषल बरामद कर लिया और एक महिला सहित तीन अपहरणकर्ताओं को गिरफ्तार कर लिया। चैकाने वाली बात यह रही कि अपहरणकर्ता कोई और नही बल्कि बालक का रिष्तेदार था।
आजमगढ़ जिले के मुबारकपुर थाना क्षेत्र के मैगापुर गांव निवासी 5 वर्षीय मनीष उर्फ षिवांग पुत्र चन्द्रषेखर यादव रक्षाबंधन के पर्व पर अपनी माँ अंजू के साथ जिले के कंधरापुर थाना क्षेत्र के महराजपुर गांव स्थित अपने ननिहाल आया था और शाम को घर के बाहर खेल रहा था तभी पड़ोसी गांव का मानसिंह यादव जो बालक का रिष्तेदार है उसे टाफी देने के बहाने बहला-फुसला कर अपने साथ आजमगढ़ शहर के रोजवेज के पास स्थित एक लाज में ले आया जहां सल्तानपुर जिले के कुडवार थाना क्षेत्र के उदयरामपुर (बेला) गांव निवासी दम्पति रामनवल मौर्या व अनीता मौर्या पहले से मौजूद थी। मासूम के गायब होने के बाद उसके घर कोहराम मच गया परिजनों ने इसकी जानकारी स्थानीय पुलिस को दी। आज सुबह मानसिंह यादव बालक के घर फोन कर 60 हजार रूपये फिरौती की मांग किया। इसके बाद पुलिस ने सर्विलान्स की मद्द से पहले मानसिंह यादव को शहर के बदरका से गिरफ्तार किया और उसकी निशानदेही पर लाज में मौजूद दम्पति के साथ बच्चे को सकुषल बरामद कर लिया। एसपी सीटी विनोद कुमार का कहना है कि पैसे को लेकर बच्चे का अपहरण किया था। अपहरण का मुकदमा दर्जकर कार्यवाही की जा रही है।
वही पकड़े गये मुख्य आरोपी मानसिंह यादव का कहना है कि वह मनीष को टाफी दिलाने ले गया लेकिन जब टाफी नही मिली तो वह उसे भंवरनाथ छोला खिलाने ले आया। बारिष होने के कारण वह उसे अपने साथ लाज ले गया और सुबह उसके मन में फिरौती का विचार आया और उसने यह कदम उठाया।
वही पकड़ गये रामनवल मौर्या का कहना है कि मानसिंह उसके मामा के लड़के का दोस्त है और तीन माह पूर्व एक शादी में उससे मुलाकात हुई थी तब से बात-चीत होती थी। वह दिल्ली में रहकर सिलाई का काम करता है। उसकी पत्नी की तबियत खराब थी और वह मानसिंह से सम्पर्क किया तो उसने आजमगढ़ आने की बात कही 18 अगस्त को वह लाज में आया और एक सोखा को दिखाया। उसने रूकने की बात कही तो वह रूका था उसको इस अपहरण की कोई जानकारी नही थी।
अब पकड़े गये सभी आरोपी अपने आप को निर्दोष बता रहे है और सबसे बड़ी बात यह रही कि अपहरणकर्ता खुद मासूम मनीष का रिष्तेदार है और चंद रूपयों की खातिर उसने यह घिनौना कृत किया। इसकी इस करनी से अब कोई किसी पर कैसे विष्वास करेगा।


