साजन के घर बारात ले जाने वाली बहू को मिली वेल
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उत्तर प्रदेश के वाराणसी जिले की चैबेपुर की रहने वाली डिंपल मिश्रा की शादी जिले के गोपीगंज के मूलापुर निवासी युवक से कुछ साल पहले मुंबई में हुई थी। बाद में किसी बात को लेकर डिंपल को पति और ससुराल वालों ने घर से निकाल दिया। उस समय डिंपल गर्भवती थी। उसने इन कठिन परिस्थितियों में एक बेटी को जन्म दिया। जिसका नाम आंचल है। पति और ससुरालियों की तरफ से उपेक्षित हो जाने पर डिंपल ने फेसबुक को अपना हथियार बनाया। डिंपल ने फेसबुक के जरिए भदोही की मीडिया से संपर्क किया और अपनी पीड़ा को एफबी के माध्यम से पत्रकारों के वाल पर पोस्ट किया। बाद में भदोही की मीडिया ने इस प्रकरण में डिंपल की मदद करने को फैसला किया। जिले के सभी अखबारों ने डिंपल की पीड़ा हो उभारा। बाद में डिंपल ससुरालियों के खिलाफ बरात लेकर 30 नवम्बर 2012 को मूलापुर पहुंची। बारात की खबर पर ससुराल के लोग तालाबंद कर भाग निकले। वैसे भी डिंपल का पति, ससुर और सास मुंबई रहते है। यहां महापंचायत का आयोजन हुआ। सभी ने ससुरालियों के फैसले को उचित बताया। लेकिन ससुरालियों पर इसका असर नहीं हुआ। जब वह उधर पति ने अपनी दूसरी शादी भी कर ली। इसके बाद डिंपल भदोही की जिला अदालत में अपने अधिकार की लड़ाई लड़ रही है। अदालत की तरफ से उसे एक लाख की क्षतिपूर्ति और 36 हजार रुपये के भरण-पोषण का आदेश हुआ था। लेकिन अभी तक उसे यह राशि नहीं मिली है। डिंपल ने ससुराल में बरात ले जाने और भीड़ इकठ्ठा करने पर उल्टे उस पर धारा 504 के तहत सास गोमती देवी पत्नी नागेंद्र ने मुकदमा भी दर्ज कराया था। इस मामले में वह मुंबई से अपनी बेटी आंचल के साथ जमानत कराने भदोही आई थी। बुधवार कोउसने बताया है कि ससुराल वाले अदालत के आदेश के बाद उसे भरण पोषण नहीं दे रहे हैं। उसने बताया है कि वह अपनी पीड़ा सभी जगह पहुंचा दी हैं लेकिन उसे न्याय नहीं मिल रहा है। पति उसे रखने को तैयार नहीं है जबकि उसने दूसरी शादी कर ली है। उसने कहां मैं जिंदगी जंग लड़ते-लड़त अब हार गई हूं। लेकिन भदोही की मीडिया ने हमारा अच्छा सहयोग किया हैं।