स्कूलों में नहीं बन सका पढ़ाई का माहौल
https://www.shirazehind.com/2017/03/blog-post_931.html
जौनपुर। शासन व प्रशासन के लाख प्रयासों के बावजूद जिले के अधिकांश परिषदीय प्राथमिक व उच्च प्राथमिक विद्यालयों में पढ़ाई का वातावरण नहीं बन पा रहा है। विद्यालयों में पढ़ाई को छोड़कर सब कुछ हो रहा है। पढ़ाई के लिए कोई गंभीर नहीं है। ज्ञात हो कि सरकार द्वारा निरूशुल्क पाठ्य पुस्तकें व स्कूल ड्रेस छात्र-छात्राओं को उपलब्ध कराया जा रहा है, दोपहर में विद्यालय में भोजन भी दिया जाता है, फिर भी अभिभावक अपने बच्चों को प्राथमिक विद्यालयों में नहीं भेजना चाह रहे है जबकि वहां तैनात शिक्षक उच्च शिक्षित हैं। यहां तक कि परिषदीय विद्यालयों के अधिकांश अध्यापक अपने बच्चों को प्राइवेट स्कूलों में पढ़ा रहे हैं। ऐसा क्यों हो रहा है, यह शासन-प्रशासन में बैठे सभी जिम्मेदार लोग जानते हैं, फिर भी उचित कार्यवाही नहीं हो पा रही है। एक तरफ शिक्षकों का तर्क है कि गैर शैक्षणिक कार्य जब तक शिक्षकों से सरकार कराएगी, पढ़ाई का वातावरण बनाने में कठिनाई होगी जबकि अभिभावकों का आरोप है कि भारी-भरकम वेतन पाने के बावजूद अध्यापक स्कूल में जाकर पढ़ाने से कतराते हैं।