पत्रकारिता जगत के पर्याय थे कैलाशनाथ व ओमप्रकाश जायसवाल
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जौनपुर। तरुणमित्र के समूह सम्पादक कैलाश नाथ एवं दैनिक मान्यवर के समूह सम्पादक ओम प्रकाश जायसवाल आज हमारे बीच नहीं हैं, लेकिन उनके द्वारा पत्रकारिता के क्षेत्र में स्थापित किये गये आदर्श सदियों जौनपुर ही नहीं पूरे प्रदेश में याद किया जायेगा। स्वर्गीय जायसवाल समाचार-पत्र के सम्पादक ही नहीं बल्कि समाज के दिशा दाता भी थे। उन्होंने अंतिम सांस तक स्वस्थ पत्रकारिता के मानक स्थापित किये रखा। आज हम सभी को उनके बताये रास्ते पर चलकर उनके द्वारा लगाया गया दैनिक मान्यवर रूपी वृक्ष को पुष्पित और पल्लवित करते रहना है। उक्त बातें दैनिक मान्यवर जौनपुर संस्करण के स्थानीय संपादक प्रकाश चंद शुक्ल ने मान्यवर परिवार द्वारा आयोजित शोकसभा को संबोधित करते हुए कही। सभा को संबोधित करते हुए रितिक पांडेय ने कहा कि मेरा और संपादक दैनिक मान्यवर ओम प्रकाश जायसवाल से मात्र 8 माह का संबंध था लेकिन जो मैंने उनसे सीखा उनके व्यक्तित्व को जाना वह मेरे लिये अनुकरणीय है। उनकी सरलता और मृदुभाषी स्वभाव तथा नये पत्रकारों के लिये वह पत्रकारिता के प्राथमिक विद्यालय थे। मैंने भी उनके सानिध्य में बहुत कुछ सीखा है। हिन्दी दैनिक तेजस टूडे के समूह सम्पादक रामजी जायसवाल ने कैलाशनाथ व ओम प्रकाश जायसवाल की चर्चा करते हुए कहा कि मुझे उन लोगों से बहुत कुछ सीखने को मिला। उनके विचार और आदर्श पत्रकारिता जगत में उनके साथ अमर रहेंगे। पत्रकार संतलाल सोनी ने कैलाश नाथ व ओमप्रकाश जायसवाल द्वारा स्थापित मानवीय मूल्यों की चर्चा करते हुए कहा कि वह सभी के साथ घुल मिल जाते थे। जो भी उनके संपर्क में आया उन्हीं का होकर रह गया। हमें कहीं से भी नहीं लग रहा है कि आज वे हमारे बीच नहीं हैं। पत्रकार देवेन्द्र यादव ने कहा कि सम्पादक कैलाश नाथ एवं ओमप्रकाश जायसवाल बेहद कर्मठ पत्रकारिता जगत के जाने-माने पत्रकार एवं संपादक रहे। उन्होंने अपने निर्देशन में समाचार पत्रों का संपादन करके उसे ऊंचाइयों पर पहुंचाया और अपनी लेखनी का लोहा आम जनमानस में मनवाया।